वैरागी काइँला
वैरागी काइँला | |
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जन्म | ओझाङहाङ लिम्बू/ तिलविक्रम सुब्बा विसं १९९६ साउन २५ पौवा गाउँ, पाँचथर जिला |
नागरिकता | नेपाली |
व्यवसाय | साहित्यकार |
जीवनसाथी(सभ) | देवकुमारी नेम्बाङ |
हस्ताक्षर | |
तिलविक्रम लिम्बू (प्रख्यात नाम: वैरागी काँहिला, जन्म: १९९६ साउन २५) नेपाली साहित्यक मूर्धन्य साहित्यकार छी । उनकर २०६६ सँ २०७० धरि नेपाल प्रज्ञा प्रतिष्ठानक कूलपति छल।
जीवनी
[सम्पादन करी]वैरागी काइँलाक जन्म पाँचथर जिलाक पौवा गाउमे वि.सं १९९६ साउन २५ गतेक दिन भेल छल। ओ स्नातक तहधरिक औपचारिक शिक्षा हासिल करने छल। वैरागी काइँला आयामेली आन्दोलन (२०२०) मार्फत साहित्य क्षेत्रमे नयाँ युगको सुरुवात करब साहित्यकारक रूपमे चिनल छल। एहिक अतिरिक्त वैरागी काइँला ‘मन्थन साहित्य संस्था’ ‘शताब्दी काठमाडौं’ जहिना संस्थाक सल्लाहकार रहल छल माने वि.सं २०४७मे तत्कालिन राजकीय प्रज्ञा प्रतिष्ठान (हाल नेपाल प्रज्ञा प्रतिष्ठान)क सदस्य भेल छल। वैरागी काइँला हाल नेपाल प्रज्ञा प्रतिष्ठानक कुलपतिक रूपमे कार्यरत अछी।[१] कमे कविता लिख बेसी चर्चित, अर्थित आ गर्वित प्राज्ञमे दरिल 'बैरागी काँइलाक वास्तविक नाम तिल बिक्रम नेम्बाङ छी। दुरुह आ विलक्षण बिम्वसभमे भाषाक चामत्कारिक विलाश करै कवि काइँला २०६२-६३क जनआन्दोलन क सक्रिय सहभागी अछी। वि.सं २०६६ सँ २०७० धरि ओ प्रज्ञा-प्रतिष्ठान क कुलपति क हैसियतके साहित्यक विकासमे लागेल अछि। काँइला हालसालै ‘रत्नशोभा-शुभलक्ष्मी मुन्धुम पुरस्कार’ प्राप्त केने छल। किरात लिम्बु जातिमे रहल धर्मशास्त्र मुन्धुमबारे पाचदशकसँ निरन्तर खोज, अनुसन्धान, लिपिबद्ध कऽ दर्जनसँ बेसी कृति प्रकाशितक स्रष्टा काइँलाके पहिल पटक ई पुरस्कार देने छल।
कृतिसभ
[सम्पादन करी]वैरागी काइँला लिम्बू भाषा, साहित्य आ इतिहासमे सेहो महत्वपुर्ण योगदान देने छल। वैरागी काइँलाद्वारा लिखित, सम्पादित किराँत लिम्बू भाषा, मुन्धुम् संस्कृति, इतिहास सम्बन्धि प्रकाशित कविता संग्रहसभ तथा कृतिसभ :
कवितासभ
[सम्पादन करी]लाग्थ्यो मेरो हत्याले तिम्रो आयु थपिने छ तर तिमी मसँग नै किन मर्दैछौ? लाग्थ्यो बन्दूक बोकेर म सुरक्षित हुनेछु तर भयभीत अझ् तिमीसँगै बढी किन हुन्छु? (वाग्मती लहरले उठेर वर्षिदेऊ...)
- फूल पात पतकर (२०१८)
- बैरागी काइँलाक कविताहरु ( २०३१)
- अन्धा मान्छेहरु आ हात्ती (२०६८)
अन्य कृतिसभ
[सम्पादन करी]- तेस्रो आयाम (२०२०)
- किराँत जागरण गीत, २०३८
- महागुरु फाल्गुनन्दक उपदेशसभ तथा सत्यहाङ्मा पन्थक भजनमाला, २०४७
- समकालिन साहित्य (२०४६)
- जर्नल अफ लिम्बु, लिटरेचर एण्ड कल्चर (२०४८)
- लिम्बू जातीमा कोख-पूजा, २०४८
- ईर्श्या आ आँखिडाहीक आख्यान, २०५१
- लिम्बु ग्रन्थ सूची (२०४९)
- प्रेतात्माको आख्यान आ अनुष्ठान, २०५१
- मोच मार्ने आख्यान आ अनुष्ठान, २०५२
- तङ्सिङ् तक्मा मुन्धुम्: आख्यान आ अनुष्ठान, २०५२
- मुजिङ्ना खेयङ्ना मुन्धुम , २०७०
- लाहादाङ्ना सुहाम्फेबा मुन्धुम , २०७०
- खाप्पुना मेल्लङ्हाङ्मा मुन्धुम , २०७०
- पाजाइवा मुन्धुम, २०७०।
- नाम्सामि-केसामि मुन्धुम ,२०७०
पुरस्कार तथा सम्मान
[सम्पादन करी]ओ ‘साझा पुरस्कार (२०३१), ‘सिद्धिचरण काव्य पुरस्कार’ (२०५३) जहिना सम्मानजनक पुरस्कार प्राप्त केने अछि।
सन्दर्भ सामग्रीसभ
[सम्पादन करी]- ↑ आधुनिक नेपाली कविता–काव्य (गीत आ गजल), नरेन्द्रप्रसाद कोइराला तथा राजन भट्टराई
- ↑ तीन दशकपछाक काइँला हिमाल खबरपत्रिका